किसान आंदोलन में हिस्सा ले रहे 7 लोगों की मौत हो चुकी है. इनमें से 4 की मौत हादसे में हुई है जबकि 3 की मौत कार्डिएक अरेस्ट से हुई है.
केंद्र सरकार के कृषि कानूनों (Farm Laws) का विरोध कर रहे किसान दिल्ली से सटी सीमाओं पर आंदोलन (Farmer Protest) कर रहे हैं.
इस किसान आंदोलन में पंजाब , हरियाणा के साथ ही यूपी, उत्तराखंड और राजस्थान से भी किसान सरकार के खिलाफ विरोध जताने के लिए आए हैं. सभी मांग कर रहे हैं कि कृषि कानूनों को सरकार वापस ले.
Indian express की रिपोर्ट के मुताबिक अब तक किसान आंदोलन में हिस्सा ले रहे 7 लोगों की मौत हो चुकी है. इनमें से 4 की मौत हादसे में हुई है, जबकि 3 की मौत कार्डिएक अरेस्ट के कारण हुई है
आंदोलन में किसानों के परिवारवाले तो आ ही रहे हैं, इसके साथ ही कुछ लोगों ने वहां उनकी मदद के लिए कैंप लगाए हैं. इनमें खाना और बेड उपलब्ध हैं.
बहादुरगढ़ की रहने वाली 45 साल की रनजीत कौर दिल्ली में अपने पति, देवर और अन्य रिश्तेदारों का साथ देने आंदोलन में आई हैं. उनका कहना है कि दिल्ली में खराब मौसम के कारण उन्हें चिंता हो रही थी. दरअसल उनके पति और रिश्तेदार अपने साथ में भरपूर गर्म कपड़े नहीं लाए हैं. उन्हें लो ब्लड प्रेशर की शिकायत है. ऐसे में रनजीत अन्य महिलाओं के साथ दिल्ली बॉर्डर आ गई हैं.
बहादुरगढ़ से दिल्ली बॉर्डर आईं ये महिलाएं अपने साथ अदरक, हल्दी, शहद और अन्य औषधि लाई हैं. ताकि 500 किसानों को काढ़ा पिलाया जा सके. बुधवार को उन्होंने सबके लिए काढ़ा भी बनाया था. ऐसी ही एक महिला है कृष्णा. वह पंजाब में अपने पति के साथ रेस्तरां चलाती हैं.
उनके अनुसार वह और उनके पति पहले ही आंदोलन में आ गए थे. यहां अधिक जगह नहीं है तो ट्रक और ट्रॉली के नीचे सोकर रात गुजारी है.