खुद को भगवान विष्णु का अंतिम अवतार यानि ‘कल्कि’ अवतार का दावा करने वाले गुजरात सरकार के एक पूर्व कर्मचारी रमेशचंद्र फेफर ने मांग की है कि उनकी ग्रैच्युटी जल्द से जल्द जारी की जाए अन्यथा वह अपनी ‘‘दिव्य शक्तियों” का इस्तेमाल कर इस वर्ष दुनिया में गंभीर सूखा ला देंगे.
दरअसल अपने आपको कल्कि’ अवतार बता कर साहब लंबे समय तक कार्यालय ही नहीं आए जिसके कारण फेफर को सरकारी सेवा से समय से पहले सेवानिवृत्ति दे दी गई थी. उन्होंने जल संसाधन विभाग के सचिव को एक जुलाई को लिखे पत्र में फेफर ने कहा कि ‘‘सरकार में बैठे राक्षस” उनकी ‘‘16 लाख रुपये की ग्रैच्युटी और एक वर्ष के वेतन के रूप में 16 लाख रुपये और” रोककर उनको परेशान कर रहे हैं.
फेफर ने कहा कि उन्हें जो ‘‘परेशान” किया जा रहा है उस कारण वह ‘‘धरती पर भीषण सूखा” ला सकते हैं क्योंकि वह भगवान विष्णु के दसवें अवतार हैं जिसने ‘सतयुग’ में शासन किया. जब वो शासन कर रहे थे तो ऑफिस कैसे आते इसलिए वो आठ महीने में महज 16 दिन कार्यालय आए. इसके लिए उन्हें 2018 में कारण बताओ नोटिस जारी किया गया था.
इस पूरे मामले पर जल संसाधन विभाग के सचिव एम के जाधव का कहना है के, ‘‘फेफर कार्यालय आए बगैर वेतन की मांग कर रहे हैं. वह कह रहे हैं कि उन्हें सिर्फ इसलिए वेतन दिया जाना चाहिए कि वह ‘कल्कि’ अवतार हैं और धरती पर वर्षा लाने के लिए काम कर रहे हैं.’
आगे जाधव ने कहा, ‘‘वह मूर्खता कर रहे हैं. उनकी ग्रैच्युटी का मामला प्रक्रिया में है. पिछली बार जब उन्होंने दावा किया (कल्कि अवतार का) तो उनके खिलाफ जांच शुरू की गई. उनकी मानसिक स्थिति को देखते हुए सरकार ने उन्हें समय से पहले सेवानिवृत्ति दे दी.”